जम्मू-कश्मीर में 27 जवानों की शहादत पर हिमांशु भारद्वाज ने जताया गहरा दुख, पाकिस्तान और देश के गद्दारों पर बोला तीखा हमला

31

मोतिहारी, बिहार – जम्मू-कश्मीर में हाल ही में हुए भीषण आतंकी हमले में 27 भारतीय जवानों की शहादत पर मोतिहारी के युवा नेता हिमांशु भारद्वाज ने गहरा शोक व्यक्त किया है। उन्होंने इसे देश की संप्रभुता और सुरक्षा पर सीधा हमला बताते हुए पाकिस्तान की कड़ी निंदा की है। साथ ही उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अपील की है कि पाकिस्तान समर्थित आतंकियों को शरण देने और हमलों को अंजाम देने वाले देशद्रोही तत्वों को सख्त सजा दी जाए।

भारद्वाज ने पत्रकारों से बात करते हुए कहा, “ये सिर्फ हमारे सैनिकों पर हमला नहीं है, ये भारत माता की अस्मिता पर हमला है। हम अपने 27 वीर सपूतों को खो चुके हैं, जिनका बलिदान कभी भुलाया नहीं जा सकता। आज हर देशभक्त का दिल रो रहा है, लेकिन ये वक्त आंसू बहाने का नहीं, बल्कि जवाब देने का है।”

पाकिस्तान को बताया ‘आतंक का पालनहार’

भारद्वाज ने पाकिस्तान को आतंक का गढ़ बताते हुए कहा कि जब तक पाकिस्तान को मुंहतोड़ जवाब नहीं दिया जाएगा, तब तक भारत की भूमि पर खून बहता रहेगा। उन्होंने कहा, “हर बार पाकिस्तान शांति की बात करता है, लेकिन पीठ पीछे हमला करवाता है। अब वक्त आ गया है कि उसे उसी की भाषा में जवाब दिया जाए।”

देश के अंदर छिपे गद्दारों पर भी कड़ा रुख

सिर्फ सीमापार से हो रहे हमलों पर ही नहीं, हिमांशु भारद्वाज ने देश के भीतर छिपे उन गद्दारों पर भी हमला बोला जो आतंकियों की मदद करते हैं। उन्होंने कहा, “आज जो हमारे बीच रहकर आतंकवाद को खाद-पानी दे रहे हैं, वो किसी भी सूरत में बख्शे नहीं जाने चाहिए। प्रधानमंत्री जी से मेरी अपील है कि इन गद्दारों को चिन्हित कर सार्वजनिक रूप से सजा दी जाए ताकि देश को संदेश जाए कि देशद्रोह की कोई माफी नहीं।”

शहीद जवानों को श्रद्धांजलि, परिवारों के प्रति संवेदना

हिमांशु भारद्वाज ने सभी शहीद जवानों को भावभीनी श्रद्धांजलि दी और उनके परिजनों के प्रति गहरी संवेदना प्रकट की। उन्होंने कहा कि सरकार को प्रत्येक शहीद परिवार को न सिर्फ आर्थिक सहायता देनी चाहिए, बल्कि उनके बच्चों की शिक्षा और रोज़गार की ज़िम्मेदारी भी उठानी चाहिए।

शहीदों के परिवारों को अकेला छोड़ना हमारी संस्कृति नहीं है। हम सब को मिलकर उनके साथ खड़ा होना होगा। यह सिर्फ सरकार की नहीं, पूरे समाज की जिम्मेदारी है,” भारद्वाज ने कहा।

कड़ी कार्रवाई की मांग

भारद्वाज ने इस हमले को भारत की सुरक्षा नीति के लिए चेतावनी बताया और कहा कि यह समय कड़ी रणनीतिक कार्रवाई का है। उन्होंने कहा कि सिर्फ बयानबाज़ी से काम नहीं चलेगा। सरकार को कड़ा सैन्य और कूटनीतिक कदम उठाना होगा।

उन्होंने कहा, “हमारे जवान अगर सीमा पर अपने प्राणों की आहुति दे सकते हैं, तो हम क्यों नहीं एकजुट होकर दुश्मनों को मुंहतोड़ जवाब दे सकते? देश का हर नागरिक आज सेना के साथ खड़ा है। हमें एक निर्णायक युद्ध की ओर बढ़ना होगा, जिससे आने वाली पीढ़ियों को बार-बार शहादत का दर्द न झेलना पड़े।”

युवाओं से देशभक्ति की अपील

अंत में भारद्वाज ने देश के युवाओं से अपील की कि वे देशभक्ति को केवल सोशल मीडिया तक सीमित न रखें, बल्कि वास्तविक जीवन में भी अपनी भूमिका निभाएं। उन्होंने कहा कि समय आ गया है जब हर युवा को सेना, प्रशासन और समाज सेवा जैसे क्षेत्रों में आगे आकर देश के लिए कुछ करना चाहिए।

निष्कर्ष: जम्मू-कश्मीर में हुए इस भीषण हमले ने एक बार फिर से पूरे देश को झकझोर दिया है। हिमांशु भारद्वाज की ओर से आई यह कड़ी प्रतिक्रिया जनता की भावना को दर्शाती है। अब देश की नजरें केंद्र सरकार की ओर हैं कि वह इस चुनौती का कैसे सामना करती है।